एजुकेशन डेस्क, अमर उजाला
Updated Tue, 05 Jan 2021 10:53 AM IST
विद्यार्थी (फाइल फोटो)
- फोटो : पीटीआई
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मध्य प्रदेश माध्यमिक शिक्षा मंडल की दसवीं और बारहवीं कक्षा की परीक्षाएं अप्रैल के आखिरी हफ्ते से शुरू होंगी। कोरोना वायरस के मद्देनजर दसवीं और बारहवीं कक्षा की बोर्ड परीक्षाओं को ऑनलाइन लेने की तैयारी चल रही है। इस साल बोर्ड परीक्षा में कई बदलाव किए गए हैं। सप्लीमेंट्री परीक्षा नहीं होगी। दसवीं और बारहवीं कक्षा की बोर्ड परीक्षाएं अप्रैल के आखिरी हफ्ते से शुरू होकर मई तक चलेंगी।
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बोर्ड परीक्षा में फेल होने वाले छात्र दे सकेंगे दोबारा परीक्षा
इस साल बोर्ड परीक्षा देने वाले दसवीं और बारहवीं के छात्रों के लिए मंडल ने कई बदलाव किए हैं। शैक्षणिक सत्र 2020-21 से बोर्ड परीक्षा देने वाले छात्रों को सप्लीमेंट्री परीक्षा नहीं देनी होगी। इसकी जगह दो बार मुख्य परीक्षा ली जाएगी। श्रेणी सुधार के लिए भी विद्यार्थी दोबारा होने वाली मुख्य परीक्षा में बैठ सकता है। अगर कोई छात्र दसवीं और बारहवीं की बोर्ड परीक्षा में फेल होता है, तो वह तीन महीने बाद दोबारा परीक्षा दे सकेगा। इस साल किसी छात्र के मार्कशीट पर सप्लीमेंट्री नहीं लिखा होगा।
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रिजल्ट में सुधार के लिए हुए हैं ये बदलाव
इस साल छात्र अगर किसी विषय में फेल होते हैं, तो उसके सामने स्टार नहीं लगेगा। मई तक चलने वाली दसवीं और बारहवीं की मुख्य परीक्षा के बाद जुलाई में दूसरी परीक्षा होगी। जिसमें वो छात्र बैठ सकेंगे जो या तो फेल हुए हैं या फिर उनके किसी विषय में कम नंबर आए हैं। कम अंक आने पर छात्र चाहें, तो सभी विषयों की परीक्षा फिर से दे सकते हैं। छात्र अगर किसी एक विषय में फेल है, तो वह दोबारा होने वाली परीक्षा में उस विषय की परीक्षा दे सकता है। रिजल्ट में उस परीक्षा के अंक मान्य होंगे जिसमें छात्र के अधिक अंक आए होंगे। यह बदलाव छात्रों के रिजल्ट में सुधार के लिए किया गया है। हालांकि, अभी बोर्ड की दसवीं और बारहवीं कक्षा की परीक्षाओं को ऑनलाइन लेने पर फैसला नहीं हुआ है। लेकिन अगर कोरोना के चलते हालात में सुधार नहीं हुआ तो बोर्ड परीक्षा ऑनलाइन हो सकती है।
मध्य प्रदेश माध्यमिक शिक्षा मंडल की दसवीं और बारहवीं कक्षा की परीक्षाएं अप्रैल के आखिरी हफ्ते से शुरू होंगी। कोरोना वायरस के मद्देनजर दसवीं और बारहवीं कक्षा की बोर्ड परीक्षाओं को ऑनलाइन लेने की तैयारी चल रही है। इस साल बोर्ड परीक्षा में कई बदलाव किए गए हैं। सप्लीमेंट्री परीक्षा नहीं होगी। दसवीं और बारहवीं कक्षा की बोर्ड परीक्षाएं अप्रैल के आखिरी हफ्ते से शुरू होकर मई तक चलेंगी।
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बोर्ड परीक्षा में फेल होने वाले छात्र दे सकेंगे दोबारा परीक्षा
इस साल बोर्ड परीक्षा देने वाले दसवीं और बारहवीं के छात्रों के लिए मंडल ने कई बदलाव किए हैं। शैक्षणिक सत्र 2020-21 से बोर्ड परीक्षा देने वाले छात्रों को सप्लीमेंट्री परीक्षा नहीं देनी होगी। इसकी जगह दो बार मुख्य परीक्षा ली जाएगी। श्रेणी सुधार के लिए भी विद्यार्थी दोबारा होने वाली मुख्य परीक्षा में बैठ सकता है। अगर कोई छात्र दसवीं और बारहवीं की बोर्ड परीक्षा में फेल होता है, तो वह तीन महीने बाद दोबारा परीक्षा दे सकेगा। इस साल किसी छात्र के मार्कशीट पर सप्लीमेंट्री नहीं लिखा होगा।
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रिजल्ट में सुधार के लिए हुए हैं ये बदलाव
इस साल छात्र अगर किसी विषय में फेल होते हैं, तो उसके सामने स्टार नहीं लगेगा। मई तक चलने वाली दसवीं और बारहवीं की मुख्य परीक्षा के बाद जुलाई में दूसरी परीक्षा होगी। जिसमें वो छात्र बैठ सकेंगे जो या तो फेल हुए हैं या फिर उनके किसी विषय में कम नंबर आए हैं। कम अंक आने पर छात्र चाहें, तो सभी विषयों की परीक्षा फिर से दे सकते हैं। छात्र अगर किसी एक विषय में फेल है, तो वह दोबारा होने वाली परीक्षा में उस विषय की परीक्षा दे सकता है। रिजल्ट में उस परीक्षा के अंक मान्य होंगे जिसमें छात्र के अधिक अंक आए होंगे। यह बदलाव छात्रों के रिजल्ट में सुधार के लिए किया गया है। हालांकि, अभी बोर्ड की दसवीं और बारहवीं कक्षा की परीक्षाओं को ऑनलाइन लेने पर फैसला नहीं हुआ है। लेकिन अगर कोरोना के चलते हालात में सुधार नहीं हुआ तो बोर्ड परीक्षा ऑनलाइन हो सकती है।
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